कोरबा. कोरबा जिले में हाथियों का कहर थमने का नाम नहीं ले रहा है। हाल ही में, जांजगीर-चांपा के छाता जंगल और बिलासपुर के निर्तू जंगल से होते हुए एक लोनर (अकेला) हाथी कोरबा जिले में प्रवेश करते ही फिर से मौत का तांडव मचाने लगा। कटघोरा वन मंडल के पाली रेंज के चैतमा स्थित ग्राम कपोट की “हाथी बाड़ी” में इस लोनर हाथी ने एक ग्रामीण की जान ले ली। मृतक की पहचान मेवा राम धनुहार के रूप में की गई है।
यह वही लोनर हाथी है जिसने पिछले महीने कोरबा जिले के रलिया में एक महिला सहित ग्राम खोडरी में दो अन्य महिलाओं और पांच मवेशियों को भी मौत के घाट उतारा था। वन विभाग और स्थानीय लोगों के बीच इस घटना ने फिर से दहशत फैला दी है। लोनर हाथी के कोरबा जिले में प्रवेश करते ही उसकी हिंसक गतिविधियाँ फिर से शुरू हो गई हैं, जिससे इलाके में दहशत का माहौल बना हुआ है।
वन विभाग की सतर्कता
पाली वन विभाग के अधिकारी और कर्मचारी लगातार ग्रामीणों को सतर्क रहने की हिदायत दे रहे हैं। ग्रामीणों से अपील की जा रही है कि वह हाथियों के विचरण वाले क्षेत्रों में न जाएं और सावधान रहें। वन विभाग द्वारा मोबाइल ऐप के माध्यम से हाथियों की लोकेशन की जानकारी दी जा रही है ताकि किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके।
कटघोरा के वन अधिकारियों का बयान
कटघोरा वन मंडल के डीएफओ कुमार निशांत ने बताया कि इस क्षेत्र में करीब 50 हाथियों का विचरण हो रहा है, और वन विभाग उनकी लगातार मॉनिटरिंग कर रहा है। स्थानीय ग्रामीणों से अनुरोध किया गया है कि वे हाथियों की गतिविधियों की जानकारी समय पर वन विभाग को दें और खुद को सुरक्षित रखें। विभाग द्वारा हाथियों की उपस्थिति को लेकर मुनादी कराई जा रही है, ताकि ग्रामीणों को समय रहते सतर्क किया जा सके।
लोगों में दहशत, वन विभाग के लिए चुनौती
इस घटना के बाद ग्रामीणों में भय और आशंका का माहौल बना हुआ है। लोनर हाथी का हिंसक रवैया लगातार ग्रामीणों के लिए खतरा बना हुआ है। पाली थाना अंतर्गत ग्राम कपोट की इस घटना के बाद वन विभाग ने अपनी सतर्कता और बढ़ा दी है, साथ ही क्षेत्र में सुरक्षा उपायों को भी तेज किया गया है।
पाली वन विभाग ने क्षेत्र के लोगों से अपील की है कि वे जंगलों के आसपास न जाएं और वन विभाग द्वारा दी जा रही सुरक्षा निर्देशों का पालन करें।