कोरबा, 01 सितंबर 2024: कोरबा जिले के पुलिस अधीक्षक (एसपी) सिद्धार्थ तिवारी ने कोरबा प्रेस क्लब के तिलक भवन में आयोजित एक विशेष पत्रकारवार्ता में अपने छह महीने के कार्यकाल का अनुभव साझा किया। उन्होंने पुलिसिंग के दौरान आने वाली चुनौतियों, उनके द्वारा उठाए गए कदमों और जनता के प्रति पुलिस की भूमिका पर विस्तार से बात की। इस कार्यक्रम में प्रेस और पुलिस के बीच की सशक्त साझेदारी को भी उजागर किया गया, जिससे जिले की सुरक्षा व्यवस्था को सुचारू रूप से संचालित करने में मदद मिली है।
हर दिन नई चुनौती, पुलिस का निरंतर प्रयास
एसपी सिद्धार्थ तिवारी ने अपनी बात शुरू करते हुए कहा, “पुलिस के लिए हर दिन एक नई चुनौती लेकर आता है। पुलिसकर्मियों को हर रोज नए टारगेट के साथ काम करना होता है, ताकि अपराधियों पर अंकुश लगाया जा सके और जनता के मन में सुरक्षा की भावना बनी रहे।” उन्होंने जोर देकर कहा कि पुलिस का काम सिर्फ अपराधियों को पकड़ने तक सीमित नहीं है, बल्कि समाज में कानून व्यवस्था बनाए रखने और लोगों के बीच पुलिस के प्रति विश्वास कायम रखने में भी पुलिस की महत्वपूर्ण भूमिका है।
महिला सुरक्षा और यातायात व्यवस्था पर विशेष ध्यान
अपने कार्यकाल के दौरान की गई उपलब्धियों का जिक्र करते हुए SP सिद्धार्थ तिवारी ने बताया कि उन्होंने जिले में महिला सुरक्षा पर विशेष ध्यान दिया है। उनके कार्यकाल की शुरुआत में महिला संबंधित अपराधों में त्वरित कार्रवाई का अभाव देखा गया था, जिसे उन्होंने प्राथमिकता के साथ दूर किया। इसके अलावा, जिले की यातायात व्यवस्था को सुधारने के लिए भी कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। एसपी तिवारी ने कहा कि सड़क दुर्घटनाओं को रोकना एक बड़ी चुनौती है, और इसे लेकर उन्होंने गहन जांच कराई। अधिकांश सड़क हादसों का कारण ट्रकों की तेज रफ्तार और सड़क किनारे शराब की उपलब्धता पाया गया। इसके समाधान के लिए 8 ढाबों को सील किया गया, जो इन हादसों के पीछे प्रमुख कारक थे।
एसपी सिद्धार्थ तिवारी ने बताया कि पिछले साल पूरे साल में शराब पीकर वाहन चलाने के 265 मामलों में कार्रवाई की गई थी, जबकि इस साल के केवल 8 महीनों में ही 1485 मामलों में कार्रवाई की जा चुकी है। इसके अतिरिक्त, नाबालिग बच्चों द्वारा वाहन चलाने की समस्या को देखते हुए उन्होंने स्कूल प्राचार्यों के साथ बैठकें कीं और बच्चों को सजग कोरबा अभियान के तहत जागरूक किया।
चीता स्क्वायड की तैनाती और ट्रैफिक व्यवस्था में सुधार
यातायात व्यवस्था में सुधार के लिए कोरबा जिले में जल्द ही चीता स्क्वायड की तैनाती की जाएगी। इस स्क्वायड का मुख्य उद्देश्य शहर में तेज गति से यातायात नियंत्रण करना और अपराधियों की धरपकड़ में तेजी लाना है। साथ ही, एसपी तिवारी ने बताया कि नगर निगम के साथ मिलकर पार्किंग की समस्या को हल करने के लिए भी कदम उठाए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि जगह-जगह फ्लैक्स और लाइट की व्यवस्था कराई जा रही है, ताकि यातायात नियमों का उल्लंघन करने वालों को नियंत्रित किया जा सके।
प्रेस और पुलिस के सामंजस्य की प्रशंसा
एसपी सिद्धार्थ तिवारी ने कोरबा में प्रेस और पुलिस के बीच सामंजस्य की तारीफ की। उन्होंने कहा, “कोरबा में प्रेस और पुलिस का सामंजस्य अव्वल दर्जे का है। यहां की मीडिया ने हमेशा पुलिस का सहयोग किया है, जिससे अपराध नियंत्रण और ट्रैफिक व्यवस्था को बेहतर बनाने में मदद मिली है।” उन्होंने कहा कि चाहे वह लोकसभा चुनाव का शांतिपूर्ण संपन्न कराना हो, या 17 टुकड़ों में बंटी बॉडी का मामला, ब्लाइंड मर्डर, लूट, यातायात समस्या, या कानून व्यवस्था की स्थिति सुधारना हो-हर चुनौती का सामना प्रेस और पुलिस के सामंजस्य से किया गया है।
जनता की जिम्मेदारी भी समझनी होगी
पुलिस अधीक्षक ने अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा कि पुलिस पर आरोप लगाना बेहद आसान है, लेकिन आम जनता को भी अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए। उन्होंने कहा, “मैं कोरबा में रहता हूं और कोरबा मेरा है, इस सोच के साथ मैं काम करता हूं। इसी तरह, जनता को भी कानून का पालन करना चाहिए। सजग समाज की यही पहचान है कि लोग अपनी जिम्मेदारी समझें और पुलिस के साथ सहयोग करें।”
एसपी सिद्धार्थ तिवारी ने यह भी बताया कि जिले में 2500 जवानों की कमी है, लेकिन इसके बावजूद पुलिस पूरी तत्परता से अपनी सेवाएं दे रही है। उन्होंने कहा कि कोरबा की व्यवस्था को आदर्श स्तर पर ले जाने का प्रयास किया जा रहा है, और इसके लिए शहर सुधार की जिम्मेदारी हम सबकी है।
एसपी सिद्धार्थ तिवारी का जीवन परिचय
कार्यक्रम में एसपी सिद्धार्थ तिवारी का जीवन परिचय कोरबा बालको टाइम्स के संपादक प्रेमचंद जैन ने दिया। उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश के निवासी सिद्धार्थ तिवारी का जन्म 12 जनवरी 1985 को हुआ था। उन्होंने बीए ऑनर्स के बाद एमबीए की डिग्री हासिल की। इसके बाद, जामिया मिलिया इस्लामिया के राष्ट्रीय पत्रकारिता संस्थान से पत्रकारिता की ट्रेनिंग ली और कुछ समय तक दिल्ली में पत्रकारिता की। इसके बाद, उन्होंने सरकारी परीक्षा पास कर भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) में सहायक महाप्रबंधक के पद पर नौकरी प्राप्त की।
28 दिसंबर 2015 को सिद्धार्थ तिवारी ने आईपीएस की सेवा ज्वाइन की। लाल बहादुर शास्त्री प्रशिक्षण अकादमी, हैदराबाद में प्रशिक्षण के बाद, उन्हें दुर्ग जिले में प्रशिक्षु आईपीएस के रूप में पोस्टिंग मिली। इसके बाद, वे रायगढ़ के सीएसपी बने। रायगढ़ के बाद, उन्हें सुकमा जैसे धुर नक्सल प्रभावित जिले में एडिशनल एसपी के रूप में तैनात किया गया। बतौर एसपी उनकी पहली पोस्टिंग कोंडागांव जिले में हुई। इसके बाद, वे दंतेवाड़ा और फिर महेंद्रगढ़ चिरमिरी भरतपुर जिले के एसपी बने। वर्तमान में सिद्धार्थ तिवारी कोरबा जिले के पुलिस अधीक्षक हैं। एसपी के रूप में कोरबा उनका चौथा जिला है।
साइबर क्राइम का कारण अज्ञानता और लालच
एसपी सिद्धार्थ तिवारी ने वर्तमान समय में साइबर क्राइम के बढ़ते मामलों पर भी प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि आज के दौर में अपराध का तरीका और स्वरूप बदल चुका है। साइबर क्राइम के मामलों में अज्ञानता और लालच मुख्य कारण होते हैं। उन्होंने कहा, “यदि हम अज्ञानता और लालच से बचें, तो साइबर अपराध से भी बच सकते हैं।”
उन्होंने सट्टेबाजी के खिलाफ की गई बड़ी कार्रवाइयों का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि गोवा से आरोपियों को पकड़ने के साथ-साथ इस लिंक से जुड़े अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तार किया गया है। इन मामलों में जो बैंक खाते सामने आए हैं, उन्हें फ्रीज कर दिया गया है।
प्रेस और पुलिस का सहयोग: एक आवश्यक साझेदारी
इस पत्रकारवार्ता के दौरान कोरबा प्रेस क्लब के अध्यक्ष राजेन्द्र जायसवाल ने स्वागत उद्बोधन दिया, जबकि आभार प्रदर्शन दैनिक मितान के संपादक और वरिष्ठ पत्रकार छेदीलाल अग्रवाल ने किया। मंच संचालन सचिव नागेंद्र श्रीवास ने किया। पूर्व सचिव द्वय मनोज ठाकुर और दिनेश राज ने पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ तिवारी को प्रेस क्लब की ओर से स्मृति चिन्ह भेंट किया।
इस कार्यक्रम के माध्यम से पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ तिवारी ने कोरबा जिले में पुलिसिंग के प्रति अपने दृष्टिकोण, चुनौतियों और उपलब्धियों को साझा किया। उन्होंने जनता से सहयोग की अपील करते हुए कहा कि बेहतर कानून व्यवस्था और सुरक्षित समाज के लिए पुलिस और जनता के बीच एक मजबूत साझेदारी की आवश्यकता है। प्रेस क्लब के सदस्यों ने इस संवाद का स्वागत किया और पुलिस के प्रयासों की सराहना की।
कोरबा में पुलिस और प्रेस का यह सामंजस्य आगे भी अपराध नियंत्रण और कानून व्यवस्था को बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ तिवारी के नेतृत्व में कोरबा जिले में पुलिसिंग की दिशा में किए जा रहे प्रयासों ने न केवल अपराधियों पर नकेल कसी है, बल्कि जनता के मन में सुरक्षा की भावना को भी मजबूत किया है।